नेपाली शेरपा ने एक बार फिर रचा इतिहास, एक बार फिर अपने होसलों से पर्वतारोही कामी रीता शेरपा ने माउंट एवरेस्ट पर झंडा गाढ़ा. जहां पहाड़ों की ऊंचाई एक ख्वाब है वहीं कामी रीता शेरपा अपने इस ख्वाब को 28 बार पूरा कर चुके है और इस बार उन्होंने 29 वीं बार अपने होसलों से माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई की. शेरपा ने इस बार एवरेस्ट की चढ़ाई के अपने ही 28 वीं बार चढ़ने के रिकॉर्ड को तोड़ दिया.

शेरपा ने अपने नाम एक और रिकॉर्ड किया और 29वीं बार विश्व की सबसे ऊंची चोटी पर चढ़ने वाले पहले व्यक्ति का खिताब अपने नाम किया. नेपाली पर्वत गाइड कामी रीता शेरपा की उम्र 54 साल है. साल 1994 से वो पहाड़ों की चढ़ाई कर रहे हैं. साथ ही माउंट एवरेस्ट के साथ-साथ और हिमालयी चोटियों पर भी उन्होंने झंडा गाढ़ा.

शेरपा ने अपने 29 वी चढ़ाई पर जाने से पहले कहा था कि मैं सागरमाथा पर चढ़ने जा रहा हूं, मेरा कोई अन्य उद्देश्य नहीं है, बल्कि मैंने केवल पर्वतारोहण का पेशा जारी रखा है, मैं रिकॉर्ड के लिए नहीं चढ़ा हूं.” उन्होंने आगे कहा कि इस साल, मैं 29वीं बार सागरमाथा पर चढ़ने के लिए निकला हूं. सागरमाथा पर किसी निश्चित संख्या में चढ़ने की मेरी कोई योजना नहीं है.

थामे गांव के 54 साल के पर्वतारोहण दिग्गज 8,848.86-मीटर (29,032-फुट) शिखर पर पहुंचे, और हिमालय पर्वतारोहण के इतिहास में एक नया रिकॉर्ड बनाया. शेरपा ने पहली बार 1994 में 24 साल की उम्र में खतरनाक चोटी पर चढ़ाई की. जिसके बाद उनका नाम दुनिया के बेस्ट पर्वतारोहियों गाइड की लिस्ट में शुमार हो गया. साथ ही उन्होंने लगभग हर मौसम में विदेशी पर्वतारोहियों को दुनिया के सबसे ऊंचे पर्वत की चोटी पर चढ़ाई करने के लिए गाइड किया.

एवरेस्ट पर अपनी ऐतिहासिक संख्या के अलावा, अनुभवी गाइड ने K2, ल्होत्से, मनास्लु और चो ओयू सहित कई हिमालयी दिग्गजों पर भी चढ़ाई की है. दुनिया की 14 सबसे ऊंची चोटियों में से आठ के नेपाल में मौजूद है.

Translate »